पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: दिवाली और काली पूजा के अवसर पर पश्चिम बंगाल से हिंदू समुदाय पर हमलों की कई चिंताजनक घटनाएँ सामने आई हैं।
इन घटनाओं ने राज्य की शांति और धार्मिक सह-अस्तित्व पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
बीजेपी नेताओं ने आरोप लगाया है कि ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल कांग्रेस (TMC) सरकार ने राज्य में हिंदू धार्मिक आस्थाओं के खिलाफ एक भय का माहौल बना दिया है।
दक्षिण 24 परगना में माँ काली की मूर्ति का सिर काटा गया
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: सबसे चौंकाने वाली घटना दक्षिण 24 परगना जिले के काकद्वीप विधानसभा क्षेत्र के सूर्यनगर ग्राम पंचायत के उत्तर चंदनपुर गाँव से सामने आई।
यहाँ काली पूजा पंडाल में माँ काली की मूर्ति का सिर काट दिया गया।
बीजेपी नेता सुवेंदु अधिकारी ने बताया कि हमलावरों की पहचान जिहादियों के रूप में हुई है, जो घटना के बाद फरार हो गए।
अधिकारी के अनुसार, पुलिस प्रशासन ने इस मामले को दबाने की कोशिश की और गाँववालों को डराने का प्रयास किया।
मंदिर के दरवाजे बंद कर दिए गए, लेकिन ग्रामीणों के विरोध के बाद पुलिस को दरवाजे खोलने और मीडिया को तस्वीरें लेने की अनुमति देनी पड़ी।
“बंगाल को वेस्ट बांग्लादेश बनाने की साजिश चल रही है”, सुवेंदु अधिकारी
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: सुवेंदु अधिकारी ने सोशल मीडिया पर वीडियो साझा करते हुए कहा, “मैं बार-बार कह चुका हूँ कि बंगाल को वेस्ट बांग्लादेश में बदलने की साजिश चल रही है। अगर हिंदू अब नहीं जागे, तो आने वाले दिनों में खतरा और बड़ा होगा।”
उन्होंने ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा कि “उनकी तुष्टिकरण की राजनीति का खामियाजा आज बंगाल के हिंदू समुदाय को भुगतना पड़ रहा है।”
पुलिस ने मूर्ति को जेल वैन में डालकर ले गई
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: घटना के अगले दिन जब ग्रामीणों ने माँ काली की खंडित मूर्ति के अपमान के विरोध में प्रदर्शन किया, तो पुलिस ने मूर्ति को वैन में डालकर ले जाने का प्रयास किया।
सुवेंदु अधिकारी के अनुसार, सुंदरबन पुलिस जिले के एसपी कोटेश्वर राव सैकड़ों पुलिसकर्मियों के साथ मौके पर पहुँचे और बिना सिर की मूर्ति को जबरन वैन में डाल दिया
ग्रामीणों ने इसका विरोध किया, जिसके बाद मौके पर भारी हंगामा हुआ।
कूचबिहार में पूजा के दौरान जिहादी हमला
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: 20 अक्टूबर को कूचबिहार जिले के तूफानगंज विधानसभा क्षेत्र के शालबाड़ी-1 इलाके में भी काली पूजा के दौरान हिंसा हुई।
सुवेंदु अधिकारी के अनुसार, पूजा की तैयारियों के बीच कुछ जिहादी हमलावर मंदिर में घुस आए और समिति के सदस्यों पर हमला कर दिया।
अधिकारी ने इस घटना की जानकारी सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म X (पूर्व में ट्विटर) पर साझा की।
दिवाली मनाते बच्चों पर पुलिस की मारपीट
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: सिर्फ धार्मिक प्रतीकों पर हमले ही नहीं, बल्कि हिंदू त्योहारों के दौरान आम लोगों पर भी कार्रवाई की खबरें आई हैं। कूचबिहार के रेलघुमटी इलाके में दिवाली के दिन पटाखे फोड़ रहे बच्चों और एक महिला पर पुलिस द्वारा कथित रूप से लाठीचार्ज किया गया।
बीजेपी नेता सुवेंदु अधिकारी ने पुलिस अधीक्षक द्युतिमान भट्टाचार्य पर आरोप लगाया कि उन्होंने हिंदुओं की खुशी में खलल डालते हुए बच्चों को मारा और एक महिला को भी चोट पहुँचाई।
उलूबेरिया में पूजा पंडाल पर पुलिस का लाठीचार्ज
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: उलूबेरिया उत्तर विधानसभा के छोटमहरा गाँव के पश्चिम पाड़ा करोलीतला इलाके में भी काली पूजा पंडाल में हिंसा हुई। अधिकारी ने कहा कि पुलिस ने झूठी शिकायत के आधार पर युवकों पर हमला किया।
उन्होंने बताया कि आमता थाने की पुलिस की गाड़ी मौके पर पहुँची और युवकों को बेरहमी से पीटा, जिससे कई लोग घायल हुए। बाद में थाने के अधिकारी मफिजुल आलम ने मामले को दबाने की कोशिश की।
अधिकारी ने इस घटना का CCTV वीडियो भी साझा किया, जिसमें पुलिसकर्मियों को युवकों पर लाठीचार्ज करते हुए देखा जा सकता है।
BJP का आरोप, “ममता की पुलिस हिंदुओं पर हमले कर रही है”
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: बीजेपी ने अपने आधिकारिक अकाउंट से पोस्ट करते हुए लिखा, “पुलिस मंत्री ममता बनर्जी ने अपनी पुलिस को हिंदुओं पर हमला करने का आदेश दे दिया है!
यही है उनका ‘वेस्ट बांग्लादेश’ वाला सपना!” पार्टी ने कहा कि यह घटनाएँ राज्य में हिंदू त्योहारों को टारगेट करने की संगठित कोशिश का हिस्सा हैं।
बंगाल में बढ़ती धार्मिक असहिष्णुता पर सवाल
पश्चिम बंगाल में काली पूजा पर हमला: लगातार बढ़ती ऐसी घटनाओं ने पश्चिम बंगाल की राजनीतिक और धार्मिक स्थिति को लेकर गंभीर बहस छेड़ दी है।
सवाल यह है कि क्या यह सब केवल प्रशासनिक लापरवाही है, या फिर राज्य की राजनीतिक संस्कृति में एक गहरी साजिश छिपी है?
एक ओर ममता सरकार पर तुष्टिकरण के आरोप हैं, तो दूसरी ओर हिंदू संगठनों ने ऐलान किया है कि अगर ऐसे हमले नहीं रुके, तो वे राज्यव्यापी आंदोलन करेंगे।

