आज नीति आयोग की बैठक चल रही है। इस बैठक में शामिल होने पहुंची ममता बनर्जी बैठक के बीच में ही निकलकर बाहर आ गयी है। उनका आरोप है कि उन्हें इस बैठक में बोलना का मौका नहीं दिया गया है। उनके माइक को पांच मिनट में ही बंद कर दिया।
पीएम नरेंद्र मोदी कि अध्यक्षता में आज यानी 27 जुलाई को नीति आयोग की 9वीं बैठक जारी है। लेकिन ममता बनर्जी बैठक के बीच में ही बहार आ गयी हैं।
ममता ने आरोप लगाए हैं कि उन्हें बोलना का मौका ही नहीं दिया गया। उन्होनें कहा की ” मैंने बैठक का बहिष्कार किया है”। उनके मुताबिक उन्हें सिर्फ 5 मिनट बोलने दिया गया वहीं चंद्रबाबू नायडू को बोलने के लिए 20 मिनट दिए गए। गोवा, महाराष्ट्र के सीएम ने 10-12 मिनट बात की। उन्होनें इसे गलत ठहराया और कहा कि ये गलत है, विपक्ष की ओर से केवल वो ही इस बैठक में भाग ले रही है। ममता ने ऐसे इसलिए किया क्यूंकि वो सहकारी संगवाद को मजबूत करने में रूचि रखती है और नीति आयोग के पास कोई वित्तीय अधिकार नहीं है। वो चाहती है कि योजना आयोग को वापस लाया जाए।
नीति आयोग ने मेरा अपमान किया
ममता बैनर्जी ने कहा “योजना आयोग को वापस लाइए, बंगाल को फंड दीजिये और बंगाल के साथ ऐसे भेदभाव मत कीजिये। जब आप केंद्र चलाते हैं तो सारे राज्यों का ध्यान रखना आपकी जिम्मेदारी है। मैं जब सेंट्रल फंड के बारे में बता रही थी कि ये पश्चिम बंगाल को नहीं दिया जा रहा है। मैंने ये भी कहा कि मैं विपक्ष से अकेली भाग ले रही हूं आपको तो इस बात पर खुश होना चाहिए। आप अपनी पार्टी और उनके राज्य को ही ज्यादा महत्ता दे रहे हैं जो कि गलत है। आप ये जो कर रहे ये न केवल बंगाल का ये टी सभी क्षेत्रीय दलों का अपमान है। ये तो मेरा भी अपमान है”।
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