YouTube की विज्ञापन नीति में मई से बड़ा बदलाव होने जा रहा है। इस बदलाव से दर्शकों को अच्छा अनुभव मिलेगा और क्रिएटर्स की कमाई बढ़ेगी।
YouTube की विज्ञापन पालिसी में जल्द ही बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा। दरअसल, कंपनी जल्द ही इस नीति को बदलने जा रही है, जिसके बाद दर्शको को यूट्यूब पर वीडियो देखने का शानदार अनुभव मिलेगा। यह बदलाव 12 मई से लागू होंगे, और इससे क्रिएटर्स को भी अपनी कमाई बढ़ाने का मौका मिलेगा। चलिए जानते हैं मई से बदलने वाले नियमों के बारे में।
Table of Contents
नैचुरल ब्रेकप्वाइंट पर दिखेंगे विज्ञापन
YouTube ने बताया कि मई से दर्शकों को वीडियो के नैचुरल ब्रेकप्वाइंट पर विज्ञापन नजर आएंगे। यानि कि जैसे अभी वीडियो के बीच में कहीं भी ऐड चलना शुरू हो जाते हैं, वो नहीं हुआ करेगा। कंपनी अब इसी पालिसी को बदलेगी और किसी भी सीन या डायलॉग के बीच विज्ञापन नहीं दिखाएगी। अब यह सिर्फ सीन के ट्रांजिशन पर पॉज पर प्लेस किए जाएंगे ।
YouTube: क्यों हो रहे बदलाव ?
यूट्यूब कंपनी का कहना है कि यह बदलाव वीडियो देखने के अनुभव को बेहतर बनाने के लिए किया जा रहा है। कंपनी ने एक पोस्ट करते हुए बताया कि इससे अधिक व्यूज आएंगे और क्रिएटर्स को ज़्यादा कमाने का मौका मिलेगा। यह बदलाव सिर्फ नए नहीं बल्कि पुराने िदेओस जो पहले से यूट्यूब पर है उनपर भी लागु होंगे। कंपनी पुराने वीडियो पर भी मिड-रोल विज्ञापनों को एडजस्ट कर देगी। जिन क्रिएटर्स को विज्ञापनों की प्लेसमेंट पर अपना फुल कंट्रोल चाहिए, वो यूट्यूब स्टूडियो में जाकर 12 मई से पहले ऑप्ट-आउट कर सकते हैं।
क्रिएटर्स की होगी मदद
यूट्यूब क्रिएटर्स को सपोर्ट करने के लिए नए उपाय अपना रही है। कंपनी मिड-रोल विज्ञापनों के लिए मैनुअल और ऑटोमैटिक दोनों तरीकों के मिश्रण को अपनाने की सलाह दे रही है। यूट्यूब के मुताबिक, जो क्रिएटर्स इस हाइब्रिड अप्रोच का इस्तेमाल करेंगे, वे केवल मैनुअल प्लेसमेंट पर निर्भर रहने वालों की तुलना में 5% ज्यादा कमाई कर सकते हैं। इसके अलावा, यूट्यूब ने एक नया टूल भी पेश किया है, जो क्रिएटर्स को यह समझने में मदद करेगा कि उनके विज्ञापनों की प्लेसमेंट से व्यूअर एक्सपीरियंस पर क्या प्रभाव पड़ रहा है। यह टूल प्लेसमेंट को बेहतर बनाने के लिए उपयोगी सुझाव भी देगा।