ब्रह्मपुत्र की लहरों पर ‘परीक्षा पे चर्चा’: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार, 21 दिसंबर 2025 को असम दौरे पर पहुँचे।
अपने दौरे की शुरुआत उन्होंने शिक्षा और युवाओं को समर्पित एक विशेष कार्यक्रम से की।
गुवाहाटी में ब्रह्मपुत्र नदी पर क्रूज के दौरान प्रधानमंत्री ने असम के 25 मेधावी छात्रों के साथ ‘परीक्षा पे चर्चा’ के विशेष संस्करण में हिस्सा लिया।
नदी के ऊपरी डेक पर हुआ यह संवाद अपने आप में अनोखा और यादगार रहा, जहाँ पढ़ाई और जीवन से जुड़े विषयों पर खुलकर बातचीत हुई।
तनाव, तैयारी और लक्ष्य पर पीएम मोदी का मार्गदर्शन
ब्रह्मपुत्र की लहरों पर ‘परीक्षा पे चर्चा’: इस संवाद के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने छात्रों से परीक्षा के तनाव, पढ़ाई की सही रणनीति, समय प्रबंधन और जीवन में लक्ष्य निर्धारण जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा की।
उन्होंने छात्रों को यह समझाया कि परीक्षा जीवन का एक हिस्सा है, न कि जीवन का अंत।
आत्मविश्वास, अनुशासन और सकारात्मक सोच को सफलता की कुंजी बताते हुए पीएम मोदी ने छात्रों को बिना दबाव के आगे बढ़ने की प्रेरणा दी।
‘परीक्षा पे चर्चा’ का उद्देश्य और खास पहल
ब्रह्मपुत्र की लहरों पर ‘परीक्षा पे चर्चा’: परीक्षा से पहले छात्रों का मनोबल बढ़ाने के उद्देश्य से आयोजित यह कार्यक्रम हर साल लाखों विद्यार्थियों के लिए मार्गदर्शक बनता है।
इस बार ब्रह्मपुत्र नदी जैसे प्राकृतिक और शांत वातावरण में संवाद ने कार्यक्रम को और भी विशेष बना दिया।
छात्रों ने भी खुलकर अपने सवाल रखे और प्रधानमंत्री के अनुभवों से सीख ली।
जनवरी 2026 में होगा PPC का मुख्य कार्यक्रम
ब्रह्मपुत्र की लहरों पर ‘परीक्षा पे चर्चा’: ‘परीक्षा पे चर्चा 2026’ का मुख्य आयोजन जनवरी 2026 में किया जाएगा, हालांकि इसकी अंतिम तारीख अभी घोषित नहीं की गई है।
फिलहाल इसके लिए पंजीकरण प्रक्रिया जारी है।
छात्र, शिक्षक और अभिभावक 11 जनवरी 2026 तक innovateindia1.mygov.in वेबसाइट के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं।
अब तक 1 करोड़ 54 लाख से अधिक लोग इस कार्यक्रम के लिए पंजीकरण करा चुके हैं, जो इसकी लोकप्रियता को दर्शाता है।
शहीदों को श्रद्धांजलि और विकास परियोजनाओं की सौगात
ब्रह्मपुत्र की लहरों पर ‘परीक्षा पे चर्चा’: छात्रों से संवाद के बाद प्रधानमंत्री मोदी गुवाहाटी के पश्चिम बोरगांव स्थित शहीद स्मारक क्षेत्र पहुँचे, जहाँ उन्होंने असम आंदोलन के बलिदानियों को श्रद्धांजलि अर्पित की।
इसके बाद वे डिब्रूगढ़ जिले में 10,600 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले ब्राउनफील्ड अमोनिया-यूरिया प्लांट की आधारशिला रखेंगे।
12.7 लाख मीट्रिक टन उत्पादन क्षमता वाला यह संयंत्र देश में उर्वरक उत्पादन बढ़ाने के साथ-साथ किसानों और पूर्वोत्तर क्षेत्र की कृषि अर्थव्यवस्था को मजबूती देगा।

