Coffee Beans Stolen In America: आमतौर पर आपने सोना, चांदी, पैसे की चोरी तो सुनी होगी लेकिन क्या आप जानते है कि अमेरिका में इन दिनों कॉफ़ी की चोरी तेजी से बढ़ रही है। आपके मन में सवाल होगा कि आखिर कॉफी जैसी चीज की चोरी क्यों होगी? आइये आपको इसके पीछे की वजह बताते हैं।
अमेरिका, जो दुनिया में सबसे ज्यादा कॉफी आयात करने वाला देश है, वहां हरी कॉफ़ी बीन्स (Green Coffee Beans) ट्रकों से चोरी हो रही हैं। इन मामलों में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। परिवहन कंपनियों के अनुसार, कॉफ़ी की कीमतों में बड़ा उछाल आया है, इस ही के कारण कॉफ़ी चोरी की घटनाएं भी बढ़ी हैं। इसके लिए कुछ लोग ट्रम्प की नीतियों को दोष दे रहे हैं।
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हथियारबंद हमलावरों ने लूटी करोड़ों की कॉफी
Coffee Beans Stolen In America: कॉफी की चोरी केवल अमेरिका तक ही सीमित नहीं है। ब्राजील और वियतनाम जैसे उत्पादक देशों में भी यह समस्या देखी गई है, जहां अक्सर किसान अपनी फसल के बाद कॉफ़ी को अस्थायी रूप से स्टोर करते हैं। जनवरी 2025 में, ब्राजील के मिनस गेरैस (Minas Gerais) राज्य में सशस्त्र हमलावरों ने एक फार्म से 500 बैग कॉफ़ी लूट लिए, जिसकी कीमत लगभग $230,000 (लगभग 1.9 करोड़ रुपये) थी।
हार्टले ट्रांसपोर्टेशन (Hartley Transportation) के लॉजिस्टिक सेल्स कोऑर्डिनेटर टॉड कॉस्टली (Todd Costley) के अनुसार, “कॉफ़ी चोरी के दर्जनों मामले सामने आए हैं, जबकि पहले कभी ये घटनाएं इतनी सामने नहीं आयी थी।
ट्रम्प की नीतियाँ जिम्मेदार?
व्हाइट हाउस में वापस आने के पहले दो हफ़्तों में ही राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कोलंबिया और मैक्सिको पर आयात शुल्क लगाने की धमकी दी थी, जो कि संयुक्त राज्य अमेरिका (यूएस) के दो सबसे बड़े आयात कॉफ़ी-बाज़ार हैं। कोलंबिया दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा कॉफ़ी उत्पादक देश है, जो ब्राज़ील और वियतनाम से पीछे है। अमेरिका के कॉफ़ी आयात का लगभग 30 प्रतिशत इसी देश से आता है।
26 जनवरी को, कोलंबियाई सरकार द्वारा निर्वासित लोगों को ले जा रहे अमेरिकी सैन्य विमानों को वापस भेजने के प्रतिशोध में, राष्ट्रपति ट्रम्प ने सभी कोलंबियाई निर्यातों पर 25 प्रतिशत आपातकालीन टैरिफ लगाने की धमकी दी। हालाँकि बाद में टैरिफ की धमकी वापस ले ली गई, लेकिन इसने पूरे वैश्विक कॉफ़ी उद्योग में हलचल मचा दी।
ब्राजील और वियतनाम जैसे प्रमुख स्रोतों में खराब मौसम की स्थिति भी कीमतें बढाने में जिम्मेदार है। लेकिन पहले से ही अस्थिर बाजार में अनिश्चितता लाने से अमेरिकी बाजार और व्यापक वैश्विक कॉफी उद्योग पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है
कैसे होती है कॉफी चोरी?

पता चला है कि अमेरिका में चोरी की यह घटनाएं संगठित गिरोहों द्वारा की जा रही हैं, जो खुद को परिवहन कंपनियों के रूप में प्रस्तुत करते हैं। कॉस्टली के अनुसार, “ये नकली कंपनियां आयातकों से छोटे-छोटे अनुबंध हासिल करने के लिए आकर्षक कीमतों या फास्ट ट्रांसपोर्ट सर्विसेज का झांसा देती हैं। एक बार जब उन्हें कॉफी मिल जाती है, तो वो फरार हो जाते हैं”।
एक ट्रक की कीमत करोड़ों में
एक ट्रक में आमतौर पर लगभग 19,958 किलो हरी कॉफ़ी बीन्स होती हैं, जिसकी मौजूदा बाजार कीमत $180,000 (लगभग 1.5 करोड़ रुपये) है। इस ही से अंदाजा लग जाता है कि क्यों आखिर अमेरिका में कॉफीचोरी तेजी से बढ़ रही हैं। ऐसे हजारों ट्रक अमेरिका से गायब हो रहे हैं जिनसे मुनाफा करोड़ों में होता है। बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि ये गिरोह चोरी की गई कॉफ़ी को छोटे रोस्टर्स को सस्ते में बेचते हैं, जो आसमान छूती कीमतों के कारण संकट में हैं।
आयातकों ने अपनाए नए सुरक्षा उपाय
चोरी की घटनाओं से निपटने के लिए कुछ आयातकों ने कॉफी बैग्स में ट्रैकिंग डिवाइसेस लगानी शुरू कर दी है, जिससे वे अपनी शिपमेंट को ट्रैक कर सकते हैं। कॉफी की कीमतों में हो रही वृद्धि और संगठित गिरोहों की सक्रियता के कारण यह स्पष्ट है कि अमेरिका में कॉफ़ी व्यापार अब नए सुरक्षा उपाय ढूंढ़ रहा है।
ह्यूस्टन में कॉफ़ी चोरी को लेकर हुई चर्चा
कॉफी चोरी के बढ़ते मामले देख अभी हाल ही में इसको लेकर ह्यूस्टन में चर्चा हुई। अमेरिकी राष्ट्रीय कॉफ़ी एसोसिएशन (U.S. National Coffee Association) ने यहां अपना वार्षिक सम्मलेन आयोजित किया था। बता दें कि अमेरिका दुनिया का सबसे बड़ा कॉफी उपभोक्ता है, लेकिन यह केवल गर्म जलवायु वाले देशों में ही पैदा होती है। इसलिए अमेरिका को अपनी लगभग 100% कॉफ़ी एक्सपोर्ट करनी पड़ती है और लाखों बैग बंदरगाहों से रोस्टिंग प्लांट तक ट्रकों के माध्यम से ले जाए जाते हैं।