Thursday, September 19, 2024

Rajasthan: राजस्थान में आरजीएचएस का दायरा बढ़ाया, माता-पिता या सास-ससुर को कर सकेंगे अब शामिल

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Rajasthan cabinet meeting: मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा की अध्यक्षता में बुधवार को कैबिनेट की बैठक हुई। इसमें सरकारी कर्मचारी के कल्याण के साथ ही ऊर्जा और रेलवे के नेटवर्क को बढ़ाने के कई प्रस्तावों पर मुहर लगी। बैठक में पेंशनधारी कर्मचारियों की आरजीएचएस की आउटडोर में इलाज की राशि बढ़ाने के साथ ही मृतक कर्मचारियों की ग्रेच्युटी बढ़ाने और न्यायिक कर्मचारियों के प्रमोशन में बाधा बन रहे दो संतान के नियम की बाध्यता हटाने जैसे महत्वपूर्ण फैसले किए गए।
हालांकि बैठक में कर्मचारियों की ओल्ड पेंशन स्कीम और केंद्र सरकार की यूपीएस स्कीम पर चर्चा नहीं हुई। इस बैठक में चिकित्सा एवं शिक्षा विभाग ने ट्रांसफर पॉलिसी के ड्राफ्ट का प्रेजेंटेशन भी दिया। कर्मचारी मान रहे थे कि कैबिनेट की बैठक में तबादलों से रोक हटेगी, जो नहीं हटी।

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ग्रेच्युटी व डेथ ग्रेच्युटी की अधिकतम सीमा 25 लाख

उप मुख्यमंत्री डॉ.प्रेमचंद बैरवा ने बताया कि राज्य कार्मिकों के हित में उनकी ग्रेच्युटी एवं डेथ ग्रेच्युटी की अधिकतम सीमा 20 लाख रुपये से बढ़ाते हुए 25 लाख करने को मंजूरी दी गई। अब पुरुष एवं महिला कार्मिकों को सीजीएचएस की तर्ज पर आरजीएचएस में भी चिकित्सा सुविधा के लिए माता-पिता या सास-ससुर में से किसी एक को शामिल करने का विकल्प मिलेगा, बशर्ते माता-पिता या सास-ससुर आश्रित होने के साथ पुरुष अथवा महिला कार्मिक के साथ निवास करते हों। इस संबंध में बजट वर्ष 2024-25 की घोषणा की क्रियान्विति करते हुए राजस्थान सिविल सेवा (चिकित्सा परिचर्या) नियम 2013 के नियम 3 (9) में संशोधन किया जाएगा।

केंद्र की तर्ज पर 10 साल बढ़ी हुई पेंशन

कैबिनेट के बाद मीडिया से रूबरू होते हुए उप मुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा ने बताया कि कर्मचारी कल्याण को लेकर सरकार ने अहम फैसले किए हैं। मृत कर्मचारियों के परिजनों को राजस्थान में केंद्र की तर्ज पर 10 साल बढ़ी हुई पेंशन मिलेगी। जिला न्यायालय कर्मचारियों को 2 से अधिक संतान होने पर भी प्रमोशन व अन्य लाभ मिल सकेंगे। संसदीय कार्यमंत्री जोगाराम पटेल ने बताया कि कैबिनेट में रेलवे नेटवर्क को बढ़ाने को लेकर कुछ फैसले लिए गए, जिसमें श्रीनाथ मेवाड़ को जोड़ने वाले रेलवे में तेजी लाई जाएगी। नाथद्वारा के पास का क्षेत्र रेल से वंचित था। ऐसे में रेलवे को आमान परिवर्तन के लिए जमीन देने का अनुमोदन हुआ है।

सौर ऊर्जा के लिए कंपनियों को जमीन हुई आवंटित

सौर ऊर्जा के जरिए दिन में किसान को बिजली उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया है। वहीं, विभिन्न बिजली कंपनियों को सौर ऊर्जा के लिए जमीन आवंटित करने का फैसला भी किया गया। कांग्रेस को निशाने पर लेते हुते जोगाराम पटेल कहा कि कांग्रेस सरकार की ओर से 90 हजार करोड़ का घाटा हमारे ऊपर डाला गया, लेकिन भजन लाल सरकार लगातार बिजली के क्षेत्र में सुधार कर रही है। इसके साथ बैठक में कुसुम योजना का दायरा बढ़ाया गया, जिसके तहत 3 हजार मेगावाट बिजली बढ़ाने की दिशा में काम शुरू किया जाएगा।

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