धर्मांतरण
महाराष्ट्र के भिवंडी में ईसाई धर्म प्रचारक के रूप में काम कर रहा अमेरिकी नागरिक जेम्स वॉटसन असल में अमेरिकी सेना का अधिकारी निकला है।
58 वर्षीय वॉटसन को शुक्रवार, 3 अक्टूबर 2025 को पुलिस ने गिरफ्तार किया। वह बिजनेस वीजा पर भारत आया था और स्थानीय हिंदुओं का धर्मांतरण कराने में सक्रिय था।
धर्मांतरण सभा के दौरान हुई गिरफ्तारी
ठाणे के हीरानंदानी एस्टेट क्षेत्र में एक धार्मिक सभा के दौरान जेम्स वॉटसन को रंगे हाथ पकड़ा गया। उस समय वह दो स्थानीय व्यक्तियों, सैनाथ गणपति सरपे और मनोज गोविंद कोल्हा, के साथ प्रार्थना सभा आयोजित कर रहा था।
पुलिस को सूचना मिली थी कि यह सभा असल में हिंदू धर्म के विरुद्ध प्रचार और ईसाई धर्मांतरण का केंद्र बनी हुई है।
जनजातीय क्षेत्रों में चल रहा था व्यवस्थित धर्मांतरण अभियान
भिवंडी और पालघर जिलों के जनजातीय इलाकों में वॉटसन कई महीनों से गरीब किसानों और ग्रामीणों को ईसाई धर्म अपनाने के लिए बहला-फुसला रहा था।
वह प्रार्थना सभाओं के नाम पर हिंदू देवी-देवताओं का अपमान करता और दावा करता कि ईसाई बनने से चमत्कारिक उपचार और समृद्धि प्राप्त होती है। इस तरह के प्रलोभनों से उसने कई जनजातीय परिवारों को निशाना बनाया।
सैन्य अधिकारी के रूप में सामने आई असल पहचान
गिरफ्तारी के बाद यह खुलासा हुआ कि जेम्स वॉटसन अमेरिकी सेना की दूसरी बटालियन, 44वीं एयर डिफेंस आर्टिलरी (ADA) में कार्यकारी अधिकारी है। यह यूनिट फोर्ट कैंपबेल, केंटकी में तैनात है और ‘ऑपरेशन फ्रीडम्स सेंटिनल’ जैसी सैन्य कार्रवाइयों में शामिल रही है।
ड्रोन युद्ध पर लिखा था तकनीकी लेख
वर्ष 2020 में वॉटसन ने “Owning the Skies, Winning the Fight” शीर्षक से एक लेख लिखा था। इसमें उसने बताया था कि किस तरह कम ऊँचाई पर उड़ने वाले क्वाडकॉप्टर जैसे ड्रोन आधुनिक युद्ध में सबसे गंभीर खतरा बन चुके हैं।
उसने लिखा था कि एयर डिफेंस आर्टिलरी को इन चुनौतियों से निपटने के लिए नई रणनीति विकसित करनी चाहिए।

अमेरिकी रक्षा विभाग की वेबसाइट पर मौजूद हैं सबूत
अमेरिका के रक्षा विभाग की वेबसाइट ‘Defence Visual Information Distribution Service (DVIDS)’ पर वॉटसन की कई तस्वीरें और एक वीडियो उपलब्ध हैं।
इन तस्वीरों में वह अमेरिकी सेना की वर्दी में दिखाई देता है। एक वीडियो में वह खुद को “मेजर जेम्स वॉटसन, हरलबर्ट फील्ड, फ्लोरिडा” बताते हुए सेना के स्थापना दिवस पर शुभकामनाएँ देता है।
वीजा के दुरुपयोग पर उठे गंभीर सवाल
बिजनेस वीजा पर भारत आकर धार्मिक गतिविधियों में शामिल होना न केवल वीजा शर्तों का उल्लंघन है बल्कि अमेरिकी सेना में सक्रिय अधिकारी द्वारा ऐसा किया जाना अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी गंभीर मामला माना जा रहा है।

यह घटना भारतीय सुरक्षा एजेंसियों के लिए सतर्कता का संकेत है कि विदेशी नागरिक किस तरह धर्मांतरण के माध्यम से स्थानीय समाज में हस्तक्षेप कर रहे हैं।
स्थानीय नागरिक की शिकायत पर खुला पूरा मामला
भिवंडी तालुका निवासी रवींद्र भुरकुट (27) ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी। उसने देखा कि एक घर के बाहर लगभग 30-35 ग्रामीणों को ईसाई धर्म का प्रचार किया जा रहा है।
जाँच में यह भी सामने आया कि जेम्स वॉटसन हिंदू धर्म को ‘अंधविश्वास’ बताकर लोगों को ईसाई बनने के लिए प्रेरित कर रहा था और कह रहा था कि इसी से जीवन में सुख और सफलता प्राप्त की जा सकती है।

